गीत:भारती उठ जाग रे !...... - श्रीकान्त मिश्र ’कान्त’है कहां निद्रित अलस से स्वप्न लोचन जाग रे !प्रगति प्राची से पुकारेभारती उठ जाग रे ! मलय चन्दन सुरभि नासानित नया उत्साह लातीअरूणिमा हिम चोटियों सेपुष्प जीवन के खिलातीकोटिश: पग मग बढ़े हैंरंग विविध ल...
नवगीत :जितने मुँह हैंउतनी बातेंशंका ज्यादा, निष्ठा कम हैकोशिश की आँखें क्यों नम हैं?जहाँ देखिये गम ही गम हैदिखें आदमी लेकिन बम हैंश्रद्धा भी करतीहै घातेंबढ़ते लोग जमीं कम पड़तीनद-सर सूखे, वनश्री घटतीहँसे सियासत, जनता पिटतीमेहनत अपनी किस्मत लिखतीदिन छोटा हैल...
नवगीत:जितने चढ़ेउतरते उतनेकौन बतायेकब, क्यों कितने?ये समीप वे बहुत दूर सेकुछ हैं गम, कुछ लगे नूर सेचुप आँसू, मुस्कान निहारोकुछ दूरी से, कुछ शऊर सेनज़र एकटकपाये न टिकने सारी दुनिया सिर्फ मुसाफिरकिसको कहिये यहाँ महाज़िरछीन-झपट, कुछ उठा-पटक हैकुछ आते-...
स्वागत गीत:शुभ नवगीत महोत्सव, आओ!शब्दब्रम्ह-हरि आराधन हो सत-शिव-सुंदर का वाचन हो कालिंदी-गोमती मिलाओ नेह नर्मदा नवल बहाओ 'मावस को पूर्णिमा बनाओ शब्दचित्र-अंकन-गायन हो सत-चित-आनंद पारायण होनिर्मल व्योम ओम मुस्काओ पंकज रमण...
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नवगीत:बीतते ही नहीं हैंये प्रतीक्षा के पलहरसिँगारी छवि तुम्हारीप्रात किरणों ने सँवारीभुवन भास्कर का दरस करउषा पर छाई खुमारीमुँडेरे से झाँकते, छवि आँकतेरीतते ही नहीं हैये प्रतीक्षा के पलअमलतासी मुस्कराहटप्रभाती सी चहचहाहटबजे कुण्डी घटियों सीकरे पछुआ सनसनाहटनत नयन कु...
नवगीत :काल बली है बचकर रहना सिंह गर्जन के दिन न रहे अब तब के साथी?कौन सहे अब? नेह नदी के घाट बहे सब सत्ता का सच महाछली है चुप रह सहना कमल सफल है महा सबल है कभी अटल था आज अचल है अन...
श्री योगराज प्रभाकर को जन्म दिवस पर अशेष शुभ कामनाएं योगराज हैं प्रभाकर, सृजन योग में दक्ष कम ही लोगों में लगन है इनके समकक्ष बहुआयामी सृजन से, दिखा रहे हैं राह हिंदी-सेवा-व्रती हैं, कौन पा सका थाह शतजीवी हों दिन-...
नवगीत महोत्सव 2014 : दूसरा दिन========================गोमती नगर, लखनऊ के ’कालिन्दी विला’, विभूति खण्ड के परिसर में ’नवगीत महोत्सव 2014’ का दूसरा दिन आज सम्पन्न हुआ. आयोजन में देश भर से गीति-काव्य के नवगीत विधा के मूर्धन्य विद्वानों ने इस विधा की वैधानिकता तथा...
रायपुर धन्यवाद!गत १० अक्टूबर को रायपुर आया था. रायपुर में १९५७-५८ में अक्षर ज्ञान पाया, यहीं मुझसे बड़ी बहन और मेरे विवाह हुए और अब जीवन संगिनी के कर्क रोग की रेडिएशन चिकित्सा संजीवनी अस्पताल में हुई। पिछली अनेक रचनाएँ संजीवनी अस्पताल और शैलेन्द्र नगर...